अयोध्या। मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम की पावन धर्म नगरी अयोध्या का अंतर्राष्ट्रीय रामकथा संग्रहालय अब श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को लीज पर दे दिया जाएगा। इसको लेकर श्री राम मंदिर निर्माण समिति के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्र ने उत्तर प्रदेश शासन को जो पत्र भेजा था उस पर कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है। अब शीघ्र ही अनुबंध पत्र पर हस्ताक्षर के बाद रामकथा संग्रहालय श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट को लीज पर दे दिया जाएगा। यहां सृजित कर्मचारियों को उत्तर प्रदेश संग्रहालय निदेशालय लखनऊ के अधीन किसी अन्य संग्रहालय में समायोजित करने के आदेश दे दिए गए हैं।
वही सुभाष चंद्र बोस राष्ट्रीय विचार मंच के अध्यक्ष शक्ति सिंह सवाल उठाते हैं कि इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच के आदेश पर इसी रामकथा संग्रहालय में गुमनामी बाबा की संरक्षित सामग्री की सुरक्षा कैसे सुनिश्चित होगी। इसे भी सरकार को देखना होगा। इसके लिए यूपी के मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्र को लिखा था पत्र। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट की योजना पहले श्री राम जन्मभूमि परिसर में ही संग्रहालय बनाने की थी लेकिन मंदिर निर्माण के बाद आने वाली श्रद्धालुओं की बड़ी भीड़ और सुरक्षा कारणों के चलते इसको अमलीजामा नहीं पहनाया जा सका। इसके बाद 30 सितंबर 2022 को श्री राम मंदिर निर्माण समिति के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्र ने रामकथा संग्रहालय को श्री राम मंदिर ट्रस्ट को देने के लिए यूपी के मुख्य सचिव दुर्गाशंकर मिश्र को एक पत्र भेजा था जिसको अब कैबिनेट की बैठक में मंजूरी दे दी गई है। खुदाई में मिले महत्वपूर्ण साक्ष्य
कामेश्वर चौपाल (सदस्य श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट) ने कहा कि यह विषय ट्रस्ट में विचार के लिए आया था अभी राम जन्मभूमि के संघर्ष के दौरान जो खुदाई हुई उस दौरान कई महत्वपूर्ण साक्ष्य मिले, वो जमीन सरकार की थी और उसके लिए हम लोगों ने एक विचार रखा था कि यदि रामकथा संग्रहालय हम लोगों को मिल जाता है तो यह हमारे लिए उपयुक्त होगा। 12.31 करोड़ की लागत से 2015 में तैयार हुआ अंतर्राष्ट्रीय रामकथा संग्रहालय 3 एकड़ भूमि में स्थित है। ग्राउंड फ्लोर समेत दो तल के इस भवन में कुल 18 कमरे हैं। राम जन्मभूमि परिसर के उत्खनन के दौरान मिले पुरातात्विक साक्ष्यों को भी इसमें संरक्षित और प्रदर्शित किया गया है, इसके अलावा पर्यटन विभाग ने 4 आर्ट गैलेरी का भी निर्माण किया है। अब हस्तांतरण के बाद रामकथा संग्रहालय की सारी संचालन व्यवस्था और विस्तार करने की क्षमता श्री राम मंदिर ट्रस्ट के पास हो जाएगी।
इस प्रक्रिया के लिए रामकथा संग्रहालय में मौजूद सामानों की लिस्ट तैयार की जा रही है जिसके आधार पर लीज एग्रीमेंट के जरिए इसे राम मंदिर ट्रस्ट को हस्तांतरित किया जाएगा। हालांकि इस पर स्वामित्व संस्कृति विभाग का होगा लेकिन रख-रखाव और संचालन श्री राम मंदिर ट्रस्ट अपने हिसाब से करेगा।
संग्रहालय में रखे जाएंगे राम जन्मभूमि से जुड़े कागजात नीतीश कुमार डीएम अयोध्याका कहना है कि इसको राम जन्म भूमि ट्रस्ट को दिया गया है क्योंकि राम जन्मभूमि परिसर में जितना खुला क्षेत्र होगा उतना ही राम मंदिर ट्रस्ट के लिए बेहतर होगा। बड़ी संख्या में लोग आएंगे इसलिए यहां संग्रहालय का निर्माण न करके जहां हमारा स्ट्रक्चर बना हुआ है उसका सुचारू रूप से इस्तेमाल करने के लिए राम मंदिर ट्रस्ट को दिया गया है।यह कैबिनेट से मंजूर हो चुका है। राम जन्मभूमि से पूरी अयोध्या पहचानी जाती है तो उस संग्रहालय में राम जन्मभूमि से संबंधित कागजात और सभी सर्टिफिकेट होंगे। उन्होंने कहा कि जो पहले से म्यूजियम में रखे हुए हैं उसका पूरा स्टॉक मैनेजमेंट करके ट्रस्ट को दिया जाएगा उसका पूरा एग्रीमेंट होगा और उसमें सारी वस्तुओं को उनको हस्तांतरित किया जाएगा। बहुत बेहतर मैनेजमेंट होगा, उसमें ट्रस्ट बहुत अच्छी व्यवस्था करेगा और जमीन और भवन पर मालिकाना हक संस्कृति विभाग का बना रहेगा।