बदलता स्वरूप गोन्डा। मालवीय नगर स्थित श्री दुख निवारण गुरुद्वारा में समाजसेवी कश्मीर सिंह सलूजा की पांचवीं पुण्यतिथि थी। तीन दिवसीय गुरु ग्रंथ वाणी पाठ एवं अरदास के साथ संपन्न होकर उनके सामाजिक योगदान और कृतित्व को याद करते हुए श्रद्धांजलि दी गई। उनके पुत्र रेड क्रॉस सोसाइटी के जिला उपाध्यक्ष जसपाल सिंह सलूजा ने बताया कि स्वर्गीय सरदार कश्मीर सिंह सलूजा का जन्म पंजाब प्रांत के गुजरात जिले में 3 मार्च 1930 को हुआ था ।1947 में भारत के विभाजन के समय वह अपने माता-पिता और परिवार के अन्य सदस्यों के साथ गोंडा के कुछ समय तो वजीरगंज के गांव रामपुर टेंगरहा व मझारा गांव में रहने के पश्चात गोंडा शहर में रहने लगे। उन्होंने लखनऊ से होम्योपैथी में डॉक्टर की पढ़ाई की और गोरखपुर यूनिवर्सिटी से ला की डिग्री भी प्राप्त किया। रोटरी क्लब के दो बार अध्यक्ष रहे और रेड क्रॉस सोसाइटी के उपाध्यक्ष पद पर कई वर्षों तक समाज की सेवा किया।इसके अलावा गुरुद्वारा साहिब के प्रधान पद पर भी सेवा 1984 से कई वर्षों तक किया। 5 नवंबर 2018 में उनकी आकस्मिक मृत्यु हुई। पूर्ण तिथि पर गुरुद्वारा दुख निवारण साहिब मालवीय नगर में 3 नवंबर को गुरु ग्रंथ साहिब के अखंड पाठ साहिब प्रारंभ करवाया जाता है जिनकी संपूर्णता रविवार को सम्पन्न हुई। इस कार्यक्रम के दौरान गुरुद्वारा के प्रधान सरदार हरजीत सिंह छाबड़ा, महेंद्र सिंह छाबड़ा, गुरदीप सिंह छाबड़ा, नरेंद्र सिंह सलूजा, प्रिंस सलूजा, इकबाल सिंह खुराना, राजेंद्र खुराना, सनी लालवानी, अनिल श्रीवास्तव, श्रवण अग्रवाल सहित अन्य लोग मौजूद रहे।

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