महेन्द्र कुमार उपाध्याय बदलता स्वरूप अयोध्या। आज स्वतंत्रता दिवस के 1 दिन पूर्व सरस्वती विद्या मंदिर में निकल गई तिरंगा यात्रा जिसके मुख्य अतिथि ज्योतिषाचार्य पंडित राकेश तिवारी जी सम्मिलित हुए एवं समस्त अयोध्या वासियों को संदेश दिया कि तिरंगा हमारा राष्ट्रीय ध्वज है ध्वज के साथ-साथ यह सभी को एक करने का संदेश है मनुष्य के अंदर तीन गुण होते हैं रजोगुण सतोगुण और तमो गुण, अगर रजो गुण और तमो गुण एक हो जाएंगे तो मनुष्य तामसी प्रवृत्ति का हो जाएगा जिससे मनुष्य का विनाश हो जाएगा , ध्वज का तात्विक अर्थ था की बीच में सफ़ेद है , सफ़ेद सतो गुण का प्रतीक है इसलिए रजो गुण और तमो गुण को एक कर दिया गया और सफ़ेद जो कि सतो गुण को बीच में कर दिया गया इसलिए तिरंगा बनाया गया तिरंगा यात्रा का मतलब है कि जनता को एकता का संदेश दिया जाए और बच्चो को यह संदेश दिया गया कि 15 अगस्त को लड्डू खाकर और गीत गाकर स्वतंत्रता नहीं मिली थी आजादी मिलने में खून की नदी बही थी हम उन शहीदों को हर वर्ष समर्पण करते है और पुष्पांजलि अर्पित करते हैं उनके शहादत और बलिदानी को याद करते है 15 अगस्त के रूप में , तिरंगा का सम्मान बना रहे लोगों में एकता बनी रहे जिससे हमारा भारत देश फिर से गुलाम न बन सके।
